यदि आप अपने लिए दक्षिण पूर्व मुखी घर का निर्माण करने के बारे में सोच रहे हैं और ये जानना चाहते हैं कि ये दिशा आपके लिए सही है या नहीं। आपके इन प्रश्नों का उत्तर सरल वास्तु के पास मिलता हैं।
वास्तु शास्त्र के अनुसार कोई भी दिशा सभी के लिये समान रूप से भाग्यशाली या अशुभ नहीं होती है। वास्तु नियमों के 20 वर्षों तक गहन अध्ययन के बाद गुरुजी ने सरल वास्तु सिद्धांतों की स्थापना की। इसके अनुसार प्रत्येक व्यक्ति की अपनी अनुकूल और प्रतिकूल दिशा होती है जो उसकी जन्म–तिथि पर आधारित होती है।
कई वास्तु विशेषज्ञ जन्म तिथि पर ध्यान केंद्रित नहीं करते हैं और उनका मानना है कि सभी व्यक्तियों के लिए एक दिशा समान रूप से काम कर सकती है। अतः ऐसे वास्तु विशेषज्ञ हर व्यक्ति को सामान्य नियमों के आधार पर एक जैसे समाधान बताते हैं जो बिल्कुल ग़लत व मिथ्या है। एक ही तरह के वास्तु समाधान सभी लोगो पर प्रभावी रूप से काम नहीं करते हैं। वास्तु शास्त्र के सिद्धांतों को समझने के बाद, गुरुजी ने इस तथ्य को समझाया कि दक्षिण पूर्व मुखी घर के लिए वास्तु उस परिवार के मुखिया के जन्म की तारीख पर निर्भर करता हैं।
यह केवल जन्म की तारीख का ही प्रभाव है कि कैसे एक पिता ने दक्षिण पूर्व मुखी घर में एक सफल जीवन जिया था लेकिन बेटे को इस दिशा के प्रतिकूल प्रभाव का सामना करना पड़ रहा है। घर की वह दिशा पिता के लिए वास्तु अनुकूल थी लेकिन पुत्र की जन्म की तारीख के आधार पर समान वास्तु प्लान के बावजूद भी उसके लिए वो भाग्यशाली नही रही। जो यह बताती है कि घर का एक जैसा वास्तु प्लान होने के उपरांत भी पिता–पुत्र दोनों के लिए उसके अलग–अलग परिणाम रहे जो उनकी भिन्न जन्म–तिथि के कारण हुए।
सरल वास्तु सिद्धांत भी कॉस्मिक ऊर्जा पर ज़ोर देते हैं। यह ऊर्जा हमेशा हमें घेरे रहती है और यह ऊर्जा हमें बहुत प्रभावित करती है। आपके घर या कार्यस्थल में होने वाले वास्तु दोष इस ऊर्जा के संतुलन को बिगाड़ सकते है और आपके जीवन में प्रतिकूलता ला सकते है।
सरल वास्तु 3 चरणों की मदद से कार्य करता है। ऊर्जा के साथ जुड़ना, इसे संतुलित करना और फिर इसमें परिवर्तन लाने के लिए चैनललाइज़ करना। यह ऊर्जा संतुलन क्रमशः सही दिशा, संरचना और चक्रों से किया जा सकता है।
कई लोग दावा करते हैं कि दक्षिण पूर्व मुखी घर उनके लिए फलदायी नहीं है। यह केवल दिशा का विषय नहीं है। ऐसा व्यक्ति की जन्म तिथि या ऊर्जा असंतुलन के कारण होता है। ये दोनों कारक किसी भी दिशा को अच्छा या बुरा बनाते हैं।
आपकी जन्म–तिथि के माध्यम से, सरल वास्तु सिद्धान्त आपको दक्षिण पूर्व मुखी घर के लिए वास्तु के सर्वोत्तम उपाय प्रदान करता है, जिससे आप अपने जीवन में सफलता और प्रसन्नता को छू सकते हैं।
क्या आप जानते है?
सरल वास्तु सिद्धांतों को अपनाने के बाद, आप 9 से 180 दिनों के भीतर दक्षिण पूर्व मुखी घर से संबंधित वास्तु समस्याओं को हल कर सकते हैं।