स्वास्थ्य के लिए वास्तु

पुरानी कहावत है कि निरोगी काया ही सबसे बड़ा मनुष्य का धन है और ये बात सत्य भी है। यदि व्यक्ति का शरीर स्वस्थ नहीं है तो वो उसकी जीवनशैली उससे बहुत प्रभावित होती है। मनुष्य के जीवन मे कोई भी विकार या बीमारी उसके जीवन मे असंतुलन पैदा कर देती है और उसका नतीजा उसके काम पर भी पड़ता है। आज दुनियाभर में अनेक बीमारियों जैसे मधुमेह, कैंसर, गुर्दे की पथरी, साँस की बीमारियों ने मानव शरीर को जकड़ लिया हैं। केवल भारत मे ही लगभग 7.5 मिलियन लोगो को कैंसर, मधुमेह, ह्रदयघात और फेंफड़ो के रोग के कारण अपना जीवन खोना पड़ रहा हैं।

चंद्रशेखर गुरूजी ने सरल वास्तु के सिद्धांतों के द्वारा एक स्वस्थ समाज और स्वस्थ कार्यबल बनाने पर बल दिया हैं।

गुरुजी के सरल वास्तु के निम्न सिद्धांत

  • दिशाओं के साथ कॉस्मिक ऊर्जा से जुड़ें
  • संरचना के साथ कॉस्मिक ऊर्जा को संतुलित करें
  • चक्रों के साथ कॉस्मिक ऊर्जा को चैनलाइज़ करें।

सरल वास्तु सिद्धांत प्रत्येक व्यक्ति की आत्म-प्रतिरक्षा प्रणाली या रोग प्रतिरोधक क्षमता को सक्रिय करने और उनके संपूर्ण स्वास्थ्य और कल्याण को सुनिश्चित करने में मदद करता है।

गुरुजी के अनुसार, अच्छे स्वास्थ्य के लिए सही दिशा केवल व्यक्ति की जन्म तिथि पर आधारित होती है।

5 लाख+ लोगों के जीवन में बदलाव

जीवन शैली संबंधित रोग
2,10,000

गंभीर बीमारियां
2,05,000

मानसिक स्वास्थ्य
85,000

आपके स्वास्थ्य पर सरल वास्तु के लाभ/फ़ायदे

कोई दैनिक अभ्यास नहीं

खान-पान या दवा बदलाव नहीं

अपने शरीर में स्वतः सही करने वाले तंत्र को सक्रिय करें

पूरे परिवार के स्वास्थ्य में सुधार लाएं

स्वास्थ्य के लिए सरल वास्तु अपनाएं

9 - 180 दिनों के भीतर सकारात्मकता का अनुभव करें

सफलता की कहानियां

डायबिटीज-मुक्त जीवन जीएं

बिना किसी दवा के तनाव से मुक्ति पाएं

सांस संबंधित परेशानियों से छुटकारा पाएं